आतंकवाद सिर्फ कानून - वैयावस्था की समस्या नहीं है, यह तो , भारत की पहचान को ही समाप्त कर देने का षड़यंत्र है . पकिस्तान के तानासाह जेनरल जियाउल हक ने तो इस्लामिक युद्ध (जिहाद ) पर एक पूरी पुस्तक लिखवाई जो पाकिस्तान के जवानों के लिये पढना अनिवार्य थी . इस जुनूनी मानसिकता को समझने के बजाय कथित सेक्युलर दल वोट और सत्ता की राजनीती के लिये उसे पोषित कर रहे है .
जनता का ध्यान भटकने के उद्देश्य से इन तत्वों ने राजनितिक षड़यंत्र रचकर (र स स ), हिन्दू संगटन व् साधू- सन्यासियों के सर आतंकवाद जैसे शब्द गढ़ कर U P A सरकार ने जिहादी आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई को ही दूसरी दिशा में मोड़ दिया .
दर्शल सकर भारतीये जनता को दिग्भ्रमित कर अपना ऊल्लू सीधा करना चाहती है। और मुस्लिम मतदाताओ को भ्रमित करने का भी काम कर रही है।
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